🌹🙏❣️❣️❣️❣️❣️❣️❣️🇮🇳❣️❣️❣️❣️❣️❣️❣️✍️🌹
ओ महाराज सुनो!
कहो मोटू!..
महाराज शौक बड़ी चीज है..
वो कैसे?
सुना है पड़ोस वाले शर्मा जी को पिटने का बहुत शौक है गजब।
पिटते है लाल कराते है चुप रहते पाए जाते है।
सुना है सहने का बहुत शौक है भाई।
ओह।
वर्मा जी को धुलाई का बहुत शौक है।
हर शनिवार को ढेर लगा रहता है वो रविवार तक धोते पाए जाते है।
ओह।
अरे वो मेहरा साहब को सफाई का बड़ा शौक है भाई।
हैं? जी जी
सुबह शाम लगे रहते है कभी झाड़ू कभी पोछा।
सुना है मारने का बहुत शौक है।
ओह।
अरे हमारे प्रसाद जी भी अजब गजब है लाने ले जाने का बहुत शौक है।
सुबह दूध शाम को सब्जी लाने का शौक है।
स्कूल से बच्चों को लाते ले जाते पाए जाते है भाई।
ओह।
क्या बात है प्रसाद जी की सब जगह जलवा तो उनका ही है भाई।
अरे रुको भाई।
चौधरी जी को चलने चलाने का बहुत शौक है।
हैं।
जी जी भाभी जी के सुझाए नक्शे कदम पे।
ओह।
अजी चोपड़ा जी भी है उन्हें कसम से फैंकने फिकवाने का बहुत शौक है..
कभी ज्ञान भक्ति से भरे गुबारे फैंकने का शौक है।
घर से अपनी तशरीफ फिकवाते पाए जाते है।
हैं।
जी जी।
ओह। बहुत ज्यादती है भाई।
अरे आगे भी सुनो
ये घर घर की कहानी है जहां शेर सुबह दहाड़ते और शाम में दुबके पाए जाते है।
एक मर्द नाम की प्रजाति है शादी से पहले शेर और शादी के बाद भीगी बिल्ली में बदले जाते है।
कही का बिल कही फाड़ते दोस्तों गरियाते पाए जाते है।
कुछ न पूछो अभी तो सिंह साहब बाबू मोशाय के शौक तो अभी बाकी है।
हमारे सरदार भाई पीते पिलाते पाए जाते है।
कहानी लंबी है उसके कुछ अंश ही सुनाए जाते है।
का हा न की हमको भी तो शौक है बहुत बांटने का तो हम भी इसी तरह सबकी व्यथा बांटते पाए जाते है।
जय हिंद।
शुभ रात्रि।
****🙏****✍️
धन्यवाद।
"निर्गुणी"
❣️❣️❣️❣️❣️❣️❣️🌹❣️❣️❣️❣️❣️❣️❣️
कभी इसकी कभी उसकी मिर्च मसाला
Comments
Post a Comment